
जे एंड के सहित कई राज्यों के पूर्व राज्यपाल रहे सत्यपाल मलिक का लंबी बीमारी के बाद मंगलवार को आरएमएल अस्पताल में निधन हो गया है. पुलवामा के आतंकी हमले को लेकर मलिक ने बड़ा खुलासा किया था. उसके बाद उन्होंने भाजपा के खिलाफ ‘विपक्षी चाणक्य’ की भूमिका निभाईथी. मलिक ने 2024 के लोकसभा चुनाव में भाजपा को टक्कर देने के लिए विपक्षी दलों को एक मंत्र दिया था. अपने राजस्थान दौरे के दौरान पूर्वराज्यपाल ने कहा था मैंने दिल्ली में सभी राजनीतिक दलों से बात की है. वे इस बात पर राजी हैं कि लोकसभा चुनाव में ‘एक उम्मीदवार के बदले एकउम्मीदवार’ खड़ा करेंगे. ऐसा संभव हो गया तो ये लोग (भाजपा) दिल्ली में बचेंगे नहीं. मलिक ने लोकसभा चुनाव से पहले कहा था, वे हर माह दसपब्लिक मीटिंग करेंगे. हालांकि उन्होंने दावा किया था कि वे न तो चुनाव लड़ेंगे और न ही कोई पार्टी ज्वाइन करेंगे. वे विपक्षी दलों के बीच एकता कोस्थापित करने का काम करेंगे. मलिक का कहना था. लोग ऐसी स्थिति पैदा करें कि उन्हें सरकार से मांगना ही न पड़े सरकार उनसे पूछे कि क्या चाहिए. ये तभी संभव हो सकेगा, जब दिल्ली में सरकार को बदला जाएगा.
मंच पर आना होगा आने
इसके लिए विपक्षी दलों कुछ एकता दिखाई है लोगों को जात-पात छोड़कर एक मंच पर आगे आना होगा. अगर एक समान मकसद के लिए सभी दल एकत्रित हो जाते हैं तो दिल्ली में भाजपा को कोई बचा नहीं सकता बाद में मलिक की तबीयत बिगड़ती चली गई. 2024 के लोकसभा चुनाव से पहले मलिक ने कहा था, मैंने दिल्ली में सभी पार्टियों से बात कर ली है. सभी राजनीतिक दल इस बात पर सहमत हैं कि 2024 केलोकसभा चुनाव में ‘एक उम्मीदवार के बदले एक उम्मीदवार खड़ा हो’ की रणनीति पर काम करेंगे. ऐसा संभव हो जाता है तो वोट नहीं बटेंगे. उसकेबाद भाजपा वाले दिल्ली में नहीं लौट पाएंगे. तब इनका नाम लेने वाला कोई नहीं होगा. मलिक ने कहा था, आज जिस घमंड को लेकर ये लोग घूमरहे हैं, वह चूर-चूर हो जाएगा. मैने लोगों से कहा है कि एक बात यह भी समझ लो कि 2024 के आम चुनाव में, ये लोग बच गए तो उसके बाद आपनहीं बचेंगे.
दूसरे मुद्दों पर घेरा भाजपा को
आपके पास यह आखिरी मौका है. पूर्व राज्यपाल मलिक ने कई मुद्दों पर खुलकर बोला उन्होंने पुलवामा के अलावा कई दूसरे मुद्दों पर भी भाजपा कोघेरा था. वह चाहे जंतर मंतर पर बैठे पहलवान हों या अदाणी का मुद्दा हो, इन्हें लेकर मलिक खासे मुखर रहे. किसानों को लेकर, राज्यपाल रहते हुए भीमलिक ने केंद्र सरकार पर निशाना साधा था. उन्होंने रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह को लेकर एक बड़ा बयान दे दिया था. मलिक ने कहा था, राजनाथ सिंहप्रधानमंत्री पद के ‘सीरियस उम्मीदवार’ हैं. अगर उनके भाग्य में है तो वह प्रधानमंत्री जरूर बनेंगे. पुलवामा हमले को लेकर उनके द्वारा दिए गए बयान परजब केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने कहा था कि जब वे राज्यपाल थे, तब उन्होंने कुछ क्यों नहीं कहा था। सीकर में दो दिवसीय दौरे पर मलिक ने कहाथा, मैंने तब भी पुलवामा मुद्दे पर बोला था। कोई एक दिन नहीं, कई बार उस बाबत बोला था. हमले के दिन, अगले दिन और फिर बाद में भी कईदफा इस मुद्दे को उठाया था. प्रधानमंत्री को पुलवामा मुद्दे पर बयान देना चाहिए था। इस बाबत अगर कोई जांच हुई है, कौन कसूरवार है, उस परकार्रवाई हुई है या नहीं, इस संबंध में पीएम बताएं.